$ 0 0 ॐ साईं रामसदियों तक जीना था जिसने.... पर, बाँट दी अपनी आयु उसने..... 96 साल पहले ले तो ली समाधी..... फिर भी दूर कर रहे हो लोगों की व्याधि.... आप आये हमेशा जब भी कोई बुलाता है.... मेरा ये नादान मन फिर क्यूँ घबराता है..... आज भी मन घबराया है और हूँ बहुत उदास....जानता हूँ मैं भी, आप भी हो यही आस-पास.......आओ मेरे बाबा, दर्शन दे कर बुझा दो, अपने बच्चों की प्यास....