ॐ साँई राम
तेरे कदमों की आहट का मुझे इन्तजार है।
तेरे कदमों की आहट का मुझे इन्तजार है।।
कैसे कहूँ बाबा तुमसे कितना प्यार है।
कैसे कहूँ बाबा तुमसे कितना प्यार है।।
कैसे कहूँ बाबा तुमसे कितना प्यार है।
कैसे कहूँ बाबा तुमसे कितना प्यार है।।
श्रद्वा सुमन से अपना आँगन मैंने सजा लिया।
साथ में सबुरी का दीपक भी जला लिया।।
तेरे चिमटे की खन खन का मुझे इन्तजार है।
कैसे कहूँ बाबा तुमसे कितना प्यार है।।